नालंदा दर्पण डेस्क। चंडी प्रखंड में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव शनै: शनै: अपनी रफ़्तार पकड़ रहीं है। चंडी की राजनीति का कभी पाठशाला हुआ करता था दयालपुर। अपने आप में एक ऐसा गांव, जो कि हसनी पंचायत के अंतर्गत आता था। लेकिन वर्चस्व दयालपुर का रहा।
कहने को हसनी पंचायत है, लेकिन आज भी इसे एक अदद पंचायत भवन तक नसीब नहीं है। दयालपुर में ही पंचायत भवन हुआ करता था।
हसनी पंचायत की राजनीति का केंद्र हुआ करता था दयालपुर। लेकिन 2016 में दयालपुर का वर्चस्व जो टूटा, अब निकट भविष्य में उसे पाटना संभव नहीं है।
हसनी पंचायत के हसनी से ही मुखिया बने श्रवण पंडित इस बार फिर से चुनाव मैदान में हैं। उन्हें घेरने के लिए पूर्व प्रत्याशी अरमान देव उर्फ मुकेश कुमार के साथ पूर्व प्रमुख सुनैना देवी के पुत्र भारत भूषण सिंह उर्फ वीरू भी पूरे दमखम के साथ चुनाव मैदान में हैं।
हालांकि नामांकन के दौरान श्रवण पंडित से ज्यादा भारत भूषण सिंह ने अपनी ताकत दिखाई थी। उनके भीड़ का आंकलन करें तो वे निर्वतमान मुखिया पर भारी पड़ सकतें हैं।
कहने को हसनी में कुल छह प्रत्याशी चुनाव मैदान में हैं। लेकिन मुख्य मुकाबले के आसार निर्वतमान मुखिया श्रवण पंडित और भारत भूषण सिंह के साथ होता दिख रहा है।
प्रत्याशी भारत भूषण सिंह के गांव हनुमानगढ़ के ही अरमान देव हैं, जो पिछले चुनाव में मामूली अंतर से चुनाव हार गए थे। इस बार उनके साथ सबसे बड़ी खासियत यह है कि उन्हें किसान नेताओं का भरपूर साथ मिलता दिख रहा है।
मतदाता फिलहाल ज्यादा कुछ बताने में नहीं है। यहां भी कुछ डमी प्रत्याशियों को खड़ा किया गया ताकि वोट का विभाजन हो सकें।
निवर्तमान मुखिया की सादगी और विनम्रता उन्हें फिर से जीत दिला सकती है। उन्हें पंचायत में विकास कार्यों पर पूर्ण भरोसा है। मतदाताओं को ही हार जीत का निर्णय करना है।
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