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DM ने बाढ़ राहत कार्यों का किया निरीक्षण, पीड़ितों को त्वरित मदद का निर्देश

जिलाधिकारी कुंदन कुमार के नेतृत्व में नालंदा जिला प्रशासन बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में राहत और पुनर्वास कार्यों को प्रभावी ढंग से संचालित कर रहा है। त्वरित कार्रवाई और समन्वित प्रयासों से बेलदारी विगहा और आसपास के क्षेत्रों में स्थिति नियंत्रण में है और प्रभावितों को हर संभव सहायता प्रदान की जा रही है...

DM inspected flood relief operations, directed immediate help to victims
DM inspected flood relief operations, directed immediate help to victims

एकंगरसराय (नालंदा दर्पण)। एकंगरसराय प्रखंड अंतर्गत मंडाछ पंचायत के बेलदारी विगहा में लोकाईन नदी के जलस्तर में अचानक वृद्धि के कारण तटबंध कटाव और सड़क संपर्क टूटने से उत्पन्न बाढ़ संकट का सामना कर रहे प्रभावित क्षेत्रों में राहत कार्यों का जायजा लेने के लिए जिला पदाधिकारी (जिलाधिकारी) कुंदन कुमार ने आज स्थलीय निरीक्षण किया। इस दौरान उन्होंने बाढ़ आपदा प्रबंधन के तहत चल रहे राहत कार्यों की प्रगति का मूल्यांकन किया और आवश्यक दिशा-निर्देश दिए।

लोकाईन नदी में जलस्तर बढ़ने के कारण बेलदारी विगहा में तटबंध और सड़क संपर्क को हुए नुकसान की मरम्मत के लिए जिलाधिकारी ने कार्यपालक अभियंता, बाढ़ प्रमंडल को तत्काल कार्रवाई करने का निर्देश दिया था।

उनके निर्देशानुसार, कार्यपालक अभियंता ने युद्ध स्तर पर मरम्मत कार्य शुरू कर बेलदारी विगहा सड़क को आवागमन के लिए दुरुस्त कर दिया। यह सड़क मंडाछ, गोनाई विगहा, फरगुसराय, शिवशंकरपुर, ठीकहीपर, लालाविगहा, पुलपर, गजोपर, जगदारी, मठपर, पोरावां, बासविगहा, रसलपुर जैसे क्षेत्रों को मसौढ़ी, जहानाबाद और पटना जिले से जोड़ती है। जिससे इसकी मरम्मत से हजारों लोगों को राहत मिली है।

बाढ़ से निपटने के लिए बेलदारी विगहा में एनडीआरएफ की दो टीमें तैनात की गई हैं, जिनमें 60 महिला और पुरुष जवान शामिल हैं। ये टीमें आठ नावों के साथ किसी भी आपात स्थिति में त्वरित रेस्क्यू के लिए तैयार हैं। जिलाधिकारी ने एनडीआरएफ की तत्परता और समर्पण की सराहना की।

जिलाधिकारी ने जिला आपदा प्रबंधन द्वारा संचालित सामुदायिक रसोई का भी दौरा किया, जहां बाढ़ प्रभावित महिलाओं, पुरुषों, बुजुर्गों और बच्चों को गुणवत्तापूर्ण भोजन उपलब्ध कराया जा रहा है। उन्होंने भोजन की गुणवत्ता और वितरण व्यवस्था की जांच की और इसे संतोषजनक पाया।

इसके अतिरिक्त बाढ़ चिकित्सा शिविर में प्रभावितों को मुफ्त इलाज और आवश्यक दवाइयां प्रदान की जा रही हैं। पशु राहत शिविर में भी बाढ़ प्रभावितों के पशुओं के लिए टोकन के माध्यम से चारा और मुफ्त दवाइयां उपलब्ध कराई जा रही हैं।

जिलाधिकारी ने इन शिविरों में दी जा रही सेवाओं की प्रशंसा करते हुए कहा कि सभी टीमें बेहद समर्पण के साथ कार्य कर रही हैं, जो सराहनीय है।

जिलाधिकारी ने कार्यपालक अभियंता बाढ़ प्रमंडल को निर्देश दिया कि अति संवेदनशील क्षेत्रों में तटबंध मरम्मत के लिए ईसी बैग, बालू भरे बोरे, बांस बल्ला, पर्याप्त श्रमिक, रात्रि में लाइटिंग व्यवस्था, वाहन और ट्रैक्टर हमेशा तैयार रखे जाएं।

उन्होंने जोर देकर कहा कि तटबंध टूटने की सूचना मिलते ही मरम्मत कार्य तुरंत शुरू किया जाए। ताकि नुकसान को न्यूनतम रखा जा सके।

निरीक्षण के दौरान उप विकास आयुक्त, अपर समाहर्ता, अपर समाहर्ता (आपदा), अनुमंडल पदाधिकारी, प्रखंड विकास पदाधिकारी, अंचलाधिकारी, थानाध्यक्ष, स्थानीय जनप्रतिनिधि और ग्रामीण उपस्थित थे। सभी ने एकजुट होकर राहत कार्यों को गति प्रदान करने में सहयोग किया।

DM inspected flood relief operations, directed immediate help to victims
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