राजगीर (नालंदा दर्पण)। मकर संक्रांति के पावन अवसर पर ऐतिहासिक राजगीर मेला मैदान में आयोजित दो दिवसीय दंगल प्रतियोगिता ने पारंपरिक कुश्ती के प्रति लोगों के जोश और उत्साह को नई ऊंचाई दी। इस बार का आयोजन खास इसलिए रहा। क्योंकि पहली बार 7 महिला जोड़ियों ने अपनी कुश्ती प्रतिभा का प्रदर्शन कर नई मिसाल कायम की।
प्रतियोगिता में कुल 22 पुरुष और 7 महिला जोड़ियों ने भाग लिया। जिनमें से कई प्रतिभागी दूरदराज के क्षेत्रों से आए थे। दंगल के दौरान दर्शकों ने विभिन्न भार वर्गों में पहलवानों के बीच जोरदार और रोमांचक मुकाबले देखे। महिला पहलवानों ने अपनी कुश्ती कौशल और दमखम से दर्शकों का दिल जीत लिया।
स्थानीय पहलवानों के साथ देश के नामी कुश्ती दिग्गजों ने भी इस प्रतियोगिता में भाग लिया। महिला पहलवानों के बीच हुए मुकाबलों ने न केवल दर्शकों को रोमांचित किया, बल्कि यह संदेश भी दिया कि खेल के क्षेत्र में महिलाएं किसी से कम नहीं हैं। दांव-पेंच और कुश्ती के हर दांव ने दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया।
शहर और ग्रामीण इलाकों से हजारों की संख्या में आए दर्शकों ने इस आयोजन को लोक मेले का रूप दे दिया। बढ़ती भीड़ को देखते हुए पुलिस और प्रशासन की ओर से विशेष सुरक्षा व्यवस्था की गई थी। मेला मैदान में जगह-जगह दंडाधिकारियों और पुलिस बल की तैनाती सुनिश्चित की गई थी।
इस प्रकार के आयोजनों से न केवल पारंपरिक खेलों को बढ़ावा मिलता है, बल्कि युवाओं को भी प्रेरणा मिलती है। कुश्ती जैसे खेलों में नई पीढ़ी की भागीदारी और रुचि बढ़ाने के लिए इस आयोजन को महत्वपूर्ण माना गया।
प्रतियोगिता के समापन पर विजेता पहलवानों को सम्मानित किया गया। आयोजकों ने इस दंगल प्रतियोगिता को आने वाले वर्षों में और बड़े स्तर पर आयोजित करने की योजना बनाई है। आयोजकों ने घोषणा की है कि यह आयोजन राजगीर मेला की एक पहचान बन चुका है और इसे भविष्य में और भव्य बनाने का प्रयास जारी रहेगा।
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