बेननालंदाबिग ब्रेकिंगराजगीरसरकार

बेन पहुंचा मुख्यमंत्री का काफिलाः कारवां गुजर गया गुबार देखते रहे

एनडीए में भाजपा एक महत्वपूर्ण सहयोगी है, लेकिन स्वागत द्वार पर हमारा झंडा नजर नहीं आया। यह गठबंधन की भावना के खिलाफ है। इस बयान ने स्थानीय स्तर पर गठबंधन के भीतर तनाव की स्थिति को उजागर कर दिया…

बेन (नालंदा दर्पण)। आज रविवार की दोपहर करीब ढाई बजे नालंदा जिले के बेन बाजार में उस समय उत्साह और उमंग का माहौल देखने को मिला, जब इस्लामपुर से नालंदा सड़क मार्ग से बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का काफिला गुजरा। इस दौरान सड़क के दोनों ओर स्थानीय लोगों और जदयू कार्यकर्ताओं की भारी भीड़ उमड़ पड़ी। हर कोई अपने नेता की एक झलक पाने को बेताब था। हालांकि, काफिला बिना रुके तेजी से आगे बढ़ गया, जिससे लोगों में निराशा देखी गई।

बेन बाजार में उस समय चहल-पहल बढ़ गई, जब यह खबर फैली कि मुख्यमंत्री का काफिला इस मार्ग से गुजरने वाला है। स्थानीय निवासियों और जदयू कार्यकर्ताओं ने सड़क के किनारे लाइन लगाकर अपने नेता का स्वागत करने की तैयारी की।

कई कार्यकर्ता फूल-मालाओं के साथ खड़े थे, ताकि मुख्यमंत्री का अभिनंदन कर सकें। लेकिन काफिले की तेज रफ्तार ने उनके अरमानों पर पानी फेर दिया। स्थानीय निवासी अजय विश्वकर्मा ने अपनी निराशा जाहिर करते हुए कहा कि हम लोग सुबह से इंतजार कर रहे थे। सीएम को देखने की उत्सुकता थी, लेकिन काफिला इतनी तेजी से निकला कि कुछ समझ ही नहीं आया।

इस मौके पर जदयू कार्यकर्ताओं के साथ-साथ एनडीए के कई नेता और कार्यकर्ता भी मौजूद थे। लेकिन इस दौरान गठबंधन की सियासत भी उभरकर सामने आई। भाजपा नेता धनंजय कुमार सिंह ने अपनी नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री की संवाद यात्रा के लिए बेन में बनाए गए स्वागत द्वार पर जदयू कार्यकर्ताओं ने भाजपा का झंडा नहीं लगाया।

उन्होंने कहा कि एनडीए में भाजपा एक महत्वपूर्ण सहयोगी है, लेकिन स्वागत द्वार पर हमारा झंडा नजर नहीं आया। यह गठबंधन की भावना के खिलाफ है। इस बयान ने स्थानीय स्तर पर गठबंधन के भीतर तनाव की स्थिति को उजागर कर दिया।

मुख्यमंत्री की संवाद यात्रा को लेकर बेन के लोगों में खासा उत्साह था। कई लोग यह उम्मीद कर रहे थे कि शायद काफिला रुके और मुख्यमंत्री स्थानीय समस्याओं पर ध्यान दें। क्षेत्र में सड़क, बिजली और पानी जैसी मूलभूत समस्याएं अभी भी बनी हुई हैं। लोग चाहते थे कि सीएम साहब रुककर उनकी बात सुनें। लेकिन काफिला तो बस हवा की तरह निकल गया।

जदयू और एनडीए के कार्यकर्ताओं ने स्वागत की पूरी तैयारी की थी। कई कार्यकर्ता फूल-मालाओं के साथ सड़क किनारे खड़े थे, लेकिन काफिला रुके बिना आगे बढ़ गया। एक जदयू कार्यकर्ता ने नाम न छापने की शर्त पर कहा कि हमने दिनभर मेहनत करके स्वागत की तैयारी की थी। माला लेकर खड़े थे, लेकिन मौका ही नहीं मिला। इससे लोग मायूस हैं।

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की संवाद यात्रा का मकसद जनता से सीधा संवाद स्थापित करना और उनकी समस्याओं को समझना है। इस यात्रा के दौरान वे विभिन्न जिलों का दौरा कर रहे हैं और स्थानीय प्रशासन के साथ बैठकें कर रहे हैं। बेन में काफिले के तेजी से गुजरने के बावजूद स्थानीय लोगों को उम्मीद है कि उनकी समस्याओं का समाधान जल्द होगा।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.

error: Content is protected !!