Home दीपनगर फिल्मी अंदाज में लापता हुए 3 स्कूली बच्चे, तलाश में जुटी पुलिस

फिल्मी अंदाज में लापता हुए 3 स्कूली बच्चे, तलाश में जुटी पुलिस

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3 school children went missing in a filmy style, police started searching for them
3 school children went missing in a filmy style, police started searching for them

बिहारशरीफ (नालंदा दर्पण)। दीपनगर थाना क्षेत्र अंतर्गत मघड़ा सराय मोहल्ला में 13 जनवरी को तीन स्कूली बच्चे फिल्मी अंदाज में लापता हो गए। यह मामला जैसे ही सामने आया, वैसे ही इलाके में हड़कंप मच गई। तीनों बच्चे एक ही स्कूल के छात्र थे और साथ में घर से निकले थे, लेकिन घर लौटने के बजाय वे लापता हो गए।

लापता बच्चों की पहचान यशराज (सोहनलाल के बेटे), वरुण कुमार (हरवन गुप्ता के बेटे) एवं साहिल कुमार (शंभू रजक के बेटे) के रूप में हुई है। तीनों की उम्र 12-13 साल के बीच है और वे साठोपुर के मिडिल-हाई स्कूल में पढ़ाई कर रहे थे। यशराज 7वीं, साहिल कुमार 5वीं और वरुण कुमार 9वीं क्लास में पढ़ते थे।

यशराज की मां पार्वती कुमारी के अनुसार उनका बेटा 13 जनवरी की सुबह घर से स्कूल जाने के लिए निकला था, लेकिन शाम तक वह वापस नहीं आया। आसपास के मोहल्ले में खोजबीन की गई, लेकिन कोई सुराग नहीं मिला। इसी दौरान यह भी पता चला कि साहिल और वरुण भी गायब हैं।

जबकि साहिल कुमार की मां गुंजन ने बताया कि उनका बेटा छुट्टी के बावजूद स्कूल नहीं पहुंचा और वह घर भी वापस नहीं आया। वहीं, वरुण कुमार की मां सोनी देवी ने बताया कि उनका बेटा सुबह स्कूल बैग लेकर निकला था। लेकिन स्कूल में उसकी अटेंडेंस नहीं लगी।

लापता बच्चों के दोस्तों से हुई बातचीत के अनुसार तीनों बच्चों के पास पैसे थे। लेकिन उन्होंने यह नहीं बताया कि वे कहां जा रहे थे। यशराज ने अपनी बहन से 25 हजार रुपये लेकर जाने की बात की थी, जबकि साहिल 700 और वरुण 2000 रुपये लेकर निकले हैं।

सीसीटीवी फुटेज में तीनों बच्चों को मोहल्ले की गलियों से बाहर निकलते हुए और मुख्य सड़क पर एक ई-रिक्शा के पास बातचीत करते हुए देखे गए हैं। इसके बाद वे उस ई-रिक्शा में सवार हो गए और फोरलेन एनएच-20 की ओर निकल गए।

दीपनगर थाना पुलिस का मानना है कि यह मामला परिजनों की डांट फटकार से आहत होकर बच्चों के घर से निकलने का प्रतीत होता है। पुलिस ने मामले की गंभीरता को देखते हुए जांच शुरू कर दी है और आसपास के सीसीटीवी फुटेज, बस स्टैंड, रेलवे स्टेशन और अन्य स्थानों पर बच्चों की तलाश की जा रही है। बच्चों को जल्द ही बरामद कर लिया जाएगा।

यह घटना नालंदा जिले के पिछले साल जुलाई माह की एक घटना को याद दिलाती है। जब एक ही स्कूल की पांच छात्राएं लापता हो गई थीं और बाद में पटना और मालदा से उन्हें बरामद किया गया था। अब एक बार फिर यही डर सताने लगा है कि कहीं ये बच्चे भी अनहोनी का शिकार न हो जाएं।

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