बिहार बोर्ड ने रद्द की 7 विषयों की सक्षमता परीक्षा, जानें कब होगी पुनर्परीक्षा

Bihar Board canceled competency test of 7 subjects, know when the re-examination will be held
Bihar Board canceled competency test of 7 subjects, know when the re-examination will be held

बिहारशरीफ (नालंदा दर्पण)। बिहार विद्यालय परीक्षा समिति (बीएसईबी) ने स्थानीय निकाय शिक्षकों की सक्षमता परीक्षा (सीटीटी) 2024 (द्वितीय) के अंतर्गत सात विषयों की परीक्षा रद्द कर दी है। ये सात विषय, जिनमें संगीत, हिंदी, गृहविज्ञान, नृत्य, फारसी (कक्षा 9वीं से 10वीं) और गृहविज्ञान व इतिहास (कक्षा 11वीं से 12वीं) शामिल हैं। ये परीक्षाएं 26 अगस्त को ऑनलाइन मोड में आयोजित की गई थीं। लेकिन अब ये परीक्षाएं 13 नवंबर को पुनः आयोजित की जाएंगी।

समिति ने परीक्षा रद्द करने का निर्णय प्रश्नों के हिंदी और अंग्रेजी अनुवाद में पाई गई गंभीर अनियमितताओं के चलते लिया। जानकारी के मुताबिक सातों विषयों के प्रश्न-पत्रों के अंग्रेजी से हिंदी अनुवाद में कई त्रुटियां पाई गईं। यहां तक कि आंसर की के विकल्प भी सही तरीके से मेल नहीं खा रहे थे। जिससे रिजल्ट तैयार करने में बड़ी बाधाएं आ रही थीं। इसके कारण बिहार बोर्ड ने इन सभी विषयों की परीक्षा रद्द करने का फैसला लिया है।

पुनर्परीक्षा की नई तारीखें और जानकारी: रद्द की गई सात विषयों की पुनर्परीक्षा 13 नवंबर को आयोजित की जाएगी। परीक्षा के लिए समिति नए एडमिट कार्ड जारी करेगी। जिनकी जानकारी सभी संबंधित अभ्यर्थियों और जिला कार्यक्रम पदाधिकारी (स्थापना) व जिला शिक्षा पदाधिकारी को पहले ही दी जा चुकी है।

यह सक्षमता परीक्षा उन नियोजित शिक्षकों के लिए आयोजित की जा रही है जो राज्यकर्मियों का दर्जा प्राप्त करना चाहते हैं। इसके अंतर्गत बिहार बोर्ड ने 23 से 26 अगस्त के बीच आयोजित की गई परीक्षा के दौरान कक्षा एक से पांच तक के शिक्षकों के लिए 30 भाषा से, 40 सामान्य अध्ययन से, और 80 सामान्य विषय से प्रश्न पूछे थे। इसी तरह की प्रश्न संरचना 6ठी से 8वीं, 9वीं से 10वीं, और 11वीं से 12वीं कक्षाओं के लिए भी लागू की गई थी।

परीक्षा रद्द करने के कारण: बीएसईबी के अनुसार सातों विषयों में पाई गई विसंगतियों ने परीक्षा की वैधता को चुनौती दी। परीक्षा के प्रश्न-पत्रों में हिंदी-अंग्रेजी अनुवाद की गलतियों ने शिक्षकों के रिजल्ट के मूल्यांकन को असंभव बना दिया था। आंसर की में भी सही विकल्प नहीं मिलने के कारण परीक्षार्थियों के परिणामों में गड़बड़ी की संभावना थी। इसे देखते हुए समिति ने यह सख्त निर्णय लिया।

प्रभावित अभ्यर्थियों की संख्या: रद्द की गई परीक्षाओं में कुल मिलाकर 8,000 से कम शिक्षक शामिल हुए थे। जो इन सात विषयों में परीक्षा देने के लिए पात्र थे। गौरतलब है कि इन सभी अभ्यर्थियों को 10 अक्तूबर को बीएसईबी की वेबसाइट पर जारी की गई उत्तर कुंजी में संशोधन के लिए 14 अक्तूबर तक आपत्तियां दर्ज करने का अवसर भी दिया गया था।

समिति का बयान और उम्मीदें: बिहार विद्यालय परीक्षा समिति ने स्पष्ट किया है कि नई तारीखों के साथ परीक्षा में पारदर्शिता और सटीकता बनाए रखने का पूरा प्रयास किया जाएगा। उन्होंने यह भी संकेत दिया है कि परीक्षा की प्रक्रियाओं में किसी भी प्रकार की अनियमितता को सख्ती से रोका जाएगा, ताकि शिक्षकों को उनकी सक्षमता के आधार पर सही मूल्यांकन मिल सके।

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