Home पटना जानें क्या है BPSC नॉर्मलाइजेशन और क्यों हो रहा है छात्रों का...

जानें क्या है BPSC नॉर्मलाइजेशन और क्यों हो रहा है छात्रों का विरोध?

0
Know what is BPSC normalization and why are students protesting
Know what is BPSC normalization and why are students protesting

“क्या BPSC नॉर्मलाइजेशन छात्रों के लिए सही है या यह प्रणाली उनके अधिकारों के साथ अन्याय करती है? यह सवाल अब न केवल शिक्षा प्रणाली के विशेषज्ञों, बल्कि पूरे समाज के लिए चर्चा का विषय बन गया है…”

नालंदा दर्पण डेस्क। बिहार लोक सेवा आयोग (BPSC) की परीक्षाओं में नॉर्मलाइजेशन प्रणाली को लागू करने के प्रस्ताव ने एक नई बहस छेड़ दी है। बड़ी संख्या में छात्र इस नीति का विरोध कर रहे हैं। जबकि आयोग इसे परीक्षा प्रणाली को निष्पक्ष बनाने का प्रयास बता रहा है। आइए समझते हैं कि नॉर्मलाइजेशन क्या है। इसका उद्देश्य क्या है और क्यों इसे लेकर विवाद खड़ा हो गया है।

आखिर क्या है नॉर्मलाइजेशनः जब परीक्षाएं एक से अधिक पालियों या दिनों में आयोजित होती हैं तो प्रत्येक पाली में अलग-अलग प्रश्न-पत्र दिए जाते हैं।

  • पेपर का स्तर: किसी पाली का पेपर कठिन हो सकता है तो किसी का आसान।
  • कैंडिडेट्स का प्रदर्शन: आसान पेपर में आमतौर पर अधिक प्रश्न सही होते हैं। जबकि कठिन पेपर में औसत स्कोर कम हो जाता है।

नॉर्मलाइजेशन का उद्देश्य अलग-अलग पाली में हुए स्कोर के बीच संतुलन बनाना है। यह छात्रों के प्रदर्शन को एक समान मानकों पर आंकने की कोशिश करता है, ताकि कठिन और आसान पाली के बीच कोई पक्षपात न हो।

छात्रों का विरोध क्यों? नॉर्मलाइजेशन के खिलाफ छात्रों के मुख्य तर्क इस प्रकार हैं-

  • पारदर्शिता की कमी- छात्रों को यह स्पष्ट नहीं किया गया कि नॉर्मलाइजेशन कैसे लागू होगा और इसके नियम क्या होंगे।
  • अन्याय की आशंका- छात्रों का मानना है कि जिनका पेपर आसान था, उनके अंक बढ़ जाएंगे। जबकि कठिन पेपर वाले छात्रों के साथ अन्याय होगा।
  • विश्वास की कमी- छात्रों को यह प्रणाली जटिल और उनके प्रदर्शन का सही आकलन करने में असमर्थ लगती है।

विरोध ने पकड़ा जोरः हाल ही में, पटना में BPSC कार्यालय के बाहर हजारों छात्रों ने नॉर्मलाइजेशन के खिलाफ प्रदर्शन किया।

  • पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच टकराव हुआ, जिसमें लाठीचार्ज किया गया।
  • कई छात्र घायल हो गए और कुछ को हिरासत में भी लिया गया।
  • लोकप्रिय शिक्षक खान सर ने भी इस प्रदर्शन में भाग लिया। जिन्हें पुलिस ने हिरासत में ले लिया।

क्या कहता है आयोग? BPSC अध्यक्ष परमार रवि मनु भाई का कहना है कि नॉर्मलाइजेशन से परीक्षा प्रणाली अधिक निष्पक्ष और वैज्ञानिक बनेगी।

  • उन्होंने छात्रों से अपील की है कि वे अफवाहों पर ध्यान न दें।
  • साथ ही आयोग ने संकेत दिया कि इस प्रणाली को लागू करने पर अभी विचार हो रहा है।

नॉर्मलाइजेशन की उपयोगिता बनाम विवादः 

  • समर्थक: इसे उन परीक्षाओं में प्रभावी माना जाता है। जहां पेपर का स्तर समान नहीं हो सकता। जैसे- कर्मचारी चयन आयोग (SSC) और रेलवे भर्ती बोर्ड (RRB) की परीक्षाओं में नॉर्मलाइजेशन का इस्तेमाल हो चुका है।
  • आलोचक: विरोध करने वाले इसे असमानता बढ़ाने वाला कदम मानते हैं।

बहरहाल, नॉर्मलाइजेशन को लेकर छात्रों का विरोध लगातार बढ़ रहा है। BPSC को जल्द ही इस पर स्पष्टता लानी होगी। ताकि छात्रों के बीच भ्रम और तनाव खत्म हो सके।

NO COMMENTS

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.

error: Content is protected !!
Exit mobile version