“आज हमारे चारो ओर अपराधियों का बोलबाला और आम जनों में उल्टे कानून का भय व्यापत है। इसका एक बड़ा कारण पुलिस की उल्टी कार्रवाई के यूं ही अनेक उदाहरण उजागर होते रहे हैं, जैसा कि सिलाव थानेदार की मानसिकता झलकती है …………”
एक्सपर्ट मीडिया न्यूज नेटवर्क। नालंदा जिले के सिलाव थाना के नानंद गांव में बिना किसी प्रशासनिक स्वीकृति के एक मौज-मस्ती पार्टी का आयोजन हुआ। इसमें अश्लील डांस, शराबखोरी, हथियार लहराते हुए फायरिंग, छेड़खानी, भय का माहौल उत्पन्न सब कुछ हुआ। लेकिन थाना में जिस तरह से मामला दर्ज किया गया है, वह काफी चौंकाने वाले हैं।
प्रत्यक्षदर्शी गांव के चौकीदार सकलदेव पासवान की फर्द बयान पर भादवि की धारा-27 आर्म्स एक्ट के तहत सिलाव थाना कांड संख्या- 169/19 दर्ज की गई है।
बकौल सकलदेव पासवान, वह वर्तमान में सिलाव थाना में चौकीदार के पद पर कार्यरत है। विगत 25 अगस्त,2019 को सिलाव थाना के पुअनि नारद मुनि सिंह के समक्ष बिना किसी भय, लालच, लोभ के अपना फर्द बयान देता हूं कि विगत 23 अगस्त,2019 की रात्रि क्षेत्र भ्रमण कर रहा था तो ग्रामीणों ने बताया कि नानंद गांव के मंटू राउत अपने बेटा के जन्म दिन के अवसर पर अपने घर के बगल के परती जमीन पर नाच-गान का आयोजन किया है। नाच-गान का आयोजन चल रहा है।
चौकीदार सकलदेव पासवान ने आगे कहा है कि करीब रात्रि 11 बजे कार्यक्रम स्थल पर गया तो देखा कि नाच गान के दौरान ही उसके नानंद गांव के अनिल उर्फ अली महतो पिता सुकर महतो नशे की हालत में अपने हाथ में लिए अवैध पिस्तौल से फायर कर रहे हैं तथा नर्तकी के साथ अश्लील हरकत कर रहे हैं।
बकौल सकलदेव पासवान, अनील उर्फ अनील महतो उसके गांव के दबंग किस्म के आदमी है। उक्त कार्य ग्रामीणों को नागवार लग रहा था। लेकिन उसके डर से आज उसकी वीडियो वायरल होने पर 25 अगस्त, 19 को बयान दिया।
वेशक चौकीदार सकलदेव पासवान ने जो भी अपने फर्द वयान में कहा है, कमोवेश सच उतना तो जरुर है। लेकिन सिलाव के थानाध्यक्ष ने जिस तरह से प्राथमिकी दर्ज की है, वह कई सवाल खड़े करते हैं।
इस थानाध्यक्ष को या तो प्राथमिकी के स्वरुप के अनुसार कांड दर्ज करने का अनुभव नहीं है या फिर कहीं न कहीं दबाव-स्वार्थ में काम किया है। जो समाज के बदमाशों का मनोबल बढ़ाने वाला ही माना जाएगा।
क्या बिना किसी प्रशासनिक स्वीकृति के एक मौज-मस्ती पार्टी का आयोजन, उसमें बार-बालाओं का अश्लील डांस, उसके साथ छेड़खानी शराबखोरी, अवैध हथियार लहराते हुए जानलेवा फायरिंग, छेड़खानी, भय का माहौल उत्पन्न करना आदि आईपीसी की किसी धारा की परिधि में नहीं आता है? वह भी जब थाना का चौकीदार ही पूरे मामले की चश्मदीद गवाह हो!
इस बाबत जब एक्सपर्ट मीडिया न्यूज नेटवर्क डेस्क की ओर से सिलाव थानाध्यक्ष मनोज कुमार से संपर्क साधा तो उनका कहना है कि अभी सुसंगत धारा आर्म्स एक्ट-27 के तहत मामला दर्ज कर अनुसंधान किया जा रहा है। आगे जो कुछ करना है, वह अनुसंधानकर्ता को करना है।
आगे प्रत्यक्षदर्शी चौकीदार के फर्द बयान के जिक्र पर थानाध्यक्ष ने जो भी कुछ कहा, बहरहाल वह सब आरोपी को बचाने की मुहिम का हिस्सा ही माना जा सकता है।
देखिए वायरल वीडियो का एक अंश………………….
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