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    Tuesday, October 15, 2024
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      देखिए केके पाठक का उल्टा चश्मा, जारी हुआ हैरान करने वाला फरमान, अब क्या करेंगे लाखों छात्र

      नालंदा दर्पण डेस्क। बिहार शिक्षा विभाग के कई फैसले से जहां लोग परेशानी में पढ़ रहे हैं, वही कुछ फैसले से लोग हैरान भी हो रहे हैं और अपर मुख्य सचिव केके पाठक की अदूरदर्शिता पर अचंभित भी हो रहे हैं।

      बता दें कि बिहार विद्यालय परीक्षा समिति के द्वारा मैट्रिक परीक्षा 2024 का रिजल्ट तो 31 मार्च 2024 को ही प्रकाशित कर शाबाशी पाने का काम किया था, लेकिन उसके दो माह बीतने के बावजूद भी छात्र-छात्राओं का क्रॉस लिस्ट स्कूलों को अब तक नहीं भेजे जाने से छात्र अभिभावक काफी हैरान और परेशान हैं।

      छात्र अभिभावकों का कहना है कि बिहार विद्यालय परीक्षा समिति के द्वारा जितनी तत्परता से परीक्षा की रिजल्ट जारी की गई, उतनी तत्परता से क्रॉस लिस्ट नहीं जारी की गई है। बिना क्रॉस लिस्ट प्राप्त हुए बच्चों के रिजल्ट नेट पर देखकर विश्वास नहीं किया जा सकता है। क्रॉस लिस्ट से मिलान करने के बाद ही विद्यालयों के द्वारा छात्रों का ट्रांसफर सर्टिफिकेट काटा जाता है।

      इधर शिक्षा विभाग के द्वारा पत्र जारी कर यह निर्देश दिया गया कि दसवीं कक्षा उत्तीर्ण करने वाले विद्यार्थी उसी विद्यालय के 11वीं कक्षा में एडमिशन लेंगे। वहीं माध्यमिक विद्यालयों को 10वीं परीक्षा उत्तीर्ण करने वाले विद्यार्थियों की क्रॉस लिस्ट अबतक नहीं भेजे जाने से प्लस टू विद्यालयों में नामांकन की प्रक्रिया स्थगित है। छात्र अपना रिजल्ट वेबसाइट पर ही देखकर संतुष्ट हो गए हैं। लेकिन नामांकन की प्रक्रिया बिना क्रॉस लिस्ट आए शुरू नहीं हो सकती है।

      हाल ही में संपन्न मैट्रिक की कंपार्टमेंटल सह विशेष परीक्षा की उत्तर पुस्तिकाओं का मूल्यांकन भी 20 मई तक की गई है। उम्मीद की जा रही है कि वार्षिक परीक्षा तथा विशेष परीक्षा दोनों का क्रॉस लिस्ट परीक्षा समिति के द्वारा एक ही बार भेजी जाएगी।

      इधर शिक्षा विभाग के द्वारा 11वीं कक्षा के छात्र-छात्राओं की मासिक परीक्षा 30 मई से लिए जाने की घोषणा की गई है। लेकिन सबसे बड़ी समस्या तो यह है कि जब 11वीं कक्षा में छात्रों का नामांकन ही नहीं हुआ है तो फिर मासिक जांच परीक्षा में कौन से विद्यार्थी शामिल होंगे।

      वहीं माध्यमिक विद्यालय किसी भी छात्र का ट्रांसफर सर्टिफिकेट बिना क्रॉस लिस्ट से मिलान किए नहीं दे सकता है। इसी प्रकार प्लस टू विद्यालय बिना ट्रांसफर सर्टिफिकेट के किसी छात्र का एडमिशन नहीं ले सकता है।

      नतीजा यह है कि जिले के किसी भी प्लस टू विद्यालय में अब तक एक भी छात्र का नामांकन नहीं हुआ है। अब विभाग द्वारा आयोजित होने वाली मासिक जांच परीक्षा में विद्यार्थी कहां से आएंगे। मैट्रिक परीक्षा का रिजल्ट जारी होने के लगभग दो महीने बाद भी जिले के मैट्रिक उत्तीर्ण छात्र-छात्राओं का अब तक 11वीं कक्षा में एडमिशन नहीं हुआ है। छात्र और अभिभावक 11वीं कक्षा में एडमिशन का इंतजार कर रहे हैं।

      मई माह की मासिक परीक्षा में शामिल होना भी आवश्यकः बिहार विद्यालय परीक्षा समिति पटना के द्वारा सत्र 2024- 26 की 11वीं कक्षा में एडमिशन लेने वाले छात्र-छात्राओं की मई महीने की मासिक जांच परीक्षा 30 मई से 8 जून तक आयोजित करने की घोषणा की गई है। बल्कि इसके लिए परीक्षा समिति के द्वारा मासिक जांच परीक्षा की सभी तैयारियां भी की जा रही है।

      इस परीक्षा के लिए प्रश्न पत्र भी जिला शिक्षा कार्यालय को उपलब्ध करा दिए गए हैं तथा 28 मई तक सभी विद्यालयों को प्रश्न पत्र उपलब्ध कराने का निर्देश भी दिया गया है। दूसरी तरफ परीक्षा समिति के द्वारा 11वीं कक्षा में एडमिशन की तिथि को विस्तारित कर 31 मई तक कर दिया गया है।

      ऐसे में जो विद्यार्थी 31 मई को ही विद्यालय में एडमिशन लेंगे। उनकी 30 मई को आयोजित होने वाली परीक्षा या तो छूट जाएगी अथवा बिना एडमिशन कराए ही उन्हें इस परीक्षा में शामिल होना पड़ेगा। इससे छात्र-अभिभावकों के साथ-साथ शिक्षकों में भी उहापोह की स्थिति बनी हुई है।

      क्योंकि बिना एडमिशन लिए किसी छात्र का मासिक जांच परीक्षा लिया जाना संभव नहीं है तो दूसरी तरफ परीक्षा समिति के निर्देशानुसार सभी छात्र- छात्राओं को मासिक जांच परीक्षा में शामिल होना भी आवश्यक है।

      उधर परीक्षा समिति के द्वारा स्पष्ट किया गया है कि छात्र-छात्राओं की सतत एवं व्यापक मूल्यांकन के लिए मासिक जांच परीक्षा में उनका शामिल होना अत्यंत आवश्यक है। इसलिए सभी छात्र-छात्राओं को मासिक जांच परीक्षा में शामिल किया जाना आवश्यक है।

      इस संबंध में जिला शिक्षा पदाधिकारी राज कुमार का कहना है कि मासिक जांच परीक्षा में परीक्षा की तिथि के पूर्व नामांकित विद्यार्थी ही शामिल हो सकेंगे। बाद में नामांकन लेने वाले विद्यार्थी बाद की परीक्षा में शामिल होंगे। क्योंकि परीक्षा समिति के द्वारा विद्यार्थियों की मासिक जांच परीक्षा की कैलेंडर पूर्व में ही जारी कर दी गई थी। 11वीं कक्षा में नामांकन लेने वाले विद्यार्थियों को निर्धारित तिथि के पूर्व ही नामांकन ले लेना चाहिए, ताकि वे भी मई महीने की जांच परीक्षा में शामिल हो सकें।

      बहरहाल, शिक्षा विभाग के द्वारा लगातार जल्दबाजी में विभिन्न प्रकार के निर्देश जारी कर दिये जा रहे हैं। इससे छात्र अभिभावकों तथा शिक्षकों को भी परेशानी हो रही है।

      एक तरफ प्लस टू विद्यालयों में 11वीं कक्षा में एडमिशन नहीं होना और दूसरी तरफ छात्रों की मासिक जांच परीक्षा लेने का आदेश देना, दोनों में तालमेल नहीं है। सबसे पहले तो विद्यालयों में छात्रों का एडमिशन होना जरूरी है। उसके बाद विद्यालय में पढ़ाई तब उसके बाद उसकी मासिक जांच परीक्षा होनी चाहिए।

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